अंतरिक्ष से दिखा महाकुंभ का विहंगम दृश्य
संजय सक्सेना
M-9454105568
विश्व के सबसे बड़े धार्मिक और मानवीय आयोजन, महाकुंभ मेला, अब सिर्फ पृथ्वी पर ही नहीं, बल्कि अंतरिक्ष से भी देखा जा रहा है। अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन (आईएसएस) के एस्ट्रोनॉट डॉन पेटिट ने रविवार रात को महाकुंभ मेला की जो तस्वीरें साझा की हैं, वे वाकई आश्चर्यचकित कर देने वाली हैं। इन तस्वीरों में गंगा नदी के किनारे पर लाखों श्रद्धालुओं की विशाल भीड़ और भव्य रौशनी के दृश्य को अंतरिक्ष से देखा गया है। महाकुंभ मेला न केवल धार्मिक दृष्टि से महत्वपूर्ण है, बल्कि यह दुनिया के सबसे बड़े मानव समागम के रूप में भी प्रतिष्ठित है।
महाकुंभ मेला में लाखों श्रद्धालु गंगा नदी में डुबकी लगाते हैं, ताकि वे आध्यात्मिक शांति और पुण्य प्राप्त कर सकें। 2025 के महाकुंभ में 13 करोड़ से भी ज्यादा श्रद्धालुओं ने संगम स्नान किया है, और यह संख्या लगातार बढ़ रही है। यह धार्मिक मेला एक असाधारण अनुभव प्रदान करता है और हर साल भारत और दुनिया भर से श्रद्धालु इसमें शामिल होते हैं। हालांकि, इस बार यह आयोजन सिर्फ पृथ्वी पर ही नहीं, बल्कि अंतरिक्ष से भी अद्वितीय तरीके से देखा जा रहा है।
डॉन पेटिट, जो कि अमेरिकी अंतरिक्ष यात्री और केमिकल इंजीनियर हैं, आईएसएस में खगोल-फोटोग्राफी और इनोवेशन के लिए मशहूर हैं। उन्होंने महाकुंभ मेले की तस्वीरों को सोशल मीडिया प्लेटफ़ॉर्म X पर साझा किया, जिसमें गंगा नदी के तट पर फैली रौशनी और विशाल मानव भीड़ को अंतरिक्ष से कैद किया गया था। यह दृश्य न केवल धरती पर हो रहे धार्मिक आयोजनों के महत्व को दर्शाता है, बल्कि अंतरिक्ष से एक नज़र डालने पर इसकी भव्यता और विशालता को भी दर्शाता है।
डॉन पेटिट ने इन तस्वीरों को साझा करते हुए लिखा कि आईएसएस से ली गईं ये तस्वीरें 2025 के महाकुंभ मेले का अद्भुत दृश्य प्रस्तुत करती हैं, जिसमें गंगा नदी के किनारे पर मानवता का विशाल समागम और रौशनी से जगमगाता दृश्य दिखाई दे रहा है। यह दृश्य पूरी दुनिया को आकर्षित कर रहा है और महाकुंभ की विशालता को एक नई परिभाषा दे रहा है। इन तस्वीरों ने दुनिया भर के लोगों का ध्यान खींचा है और महाकुंभ मेला को एक वैश्विक धार्मिक और सांस्कृतिक प्रतीक के रूप में स्थापित किया है।
डॉन पेटिट का योगदान महाकुंभ की इन अद्वितीय तस्वीरों को अंतरिक्ष से खींचने में बहुत महत्वपूर्ण है। वे न केवल अंतरिक्ष यात्रा के विशेषज्ञ हैं, बल्कि उन्होंने अपनी कक्षा में खगोल-फोटोग्राफी में भी महारत हासिल की है। पेटिट को उनकी विभिन्न तकनीकी और नवाचारों के लिए जाना जाता है, और वे नासा के सबसे वृद्ध सक्रिय एस्ट्रोनॉट भी हैं। वे आईएसएस में 555 दिन से अधिक समय बिता चुके हैं, और उनकी उम्र 69 वर्ष है। इन तस्वीरों को देखकर यह स्पष्ट है कि अंतरिक्ष से धार्मिक और सांस्कृतिक आयोजनों को देखना कितना अद्भुत और प्रेरणादायक हो सकता है।
इस प्रकार, महाकुंभ मेला अब एक वैश्विक दृष्टिकोण से देखा जा रहा है और अंतरिक्ष से ली गई तस्वीरें इस विशाल धार्मिक आयोजन की ऐतिहासिक और सांस्कृतिक महत्ता को पूरे विश्व के सामने प्रस्तुत कर रही हैं।
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